Owner/Director : Anita Khare
Contact No. : 9009991052
Sampadak : Shashank Khare
Contact No. : 7987354738
Raipur C.G. 492007
City Office : In Front of Raj Talkies, Block B1, 2nd Floor, Bombey Market GE Road, Raipur C.G. 492001
प्राचीनकाल से ही भारतीय संस्कृति में मनुष्य के लिए जन्म से मृत्यु तक सोलह संस्कारों की व्याख्या की गई है। इनमें गर्भ संस्कार भी एक प्रमुख संस्कार माना गया है। चिकित्सा विज्ञान यह स्वीकार कर चुका है कि गर्भस्थ शिशु किसी चैतन्य जीव की तरह व्यवहार करता है तथा वह सुनता और ग्रहण भी करता है। माता के गर्भ में आने के बाद से गर्भस्थ शिशु को संस्कारित किया जा सकता है तथा दिव्य संतान की प्राप्ति की जा सकती है।
नई दिल्ली
यौन उत्पीड़न और ऐसिड अटैक जैसी जघन्य घटनाओं से पीड़ित महिलाओं को आर्थिक मदद देने के लिए नैशनल लीगल सर्विसेज अथॉरिटी ने मुआवजे की राशि तय की है। केंद्र सरकार से मशविरे के बाद अथॉरिटी ने 5 से 7 लाख रुपये का न्यूनतम मुआवजा दिए जाने की रिलीफ पॉलिसी तैयार की है। इस स्कीम के तहत रेप और गैंगरेप पीड़ितों को मदद देने के लिए न्यूनतम राशि तय की जाएगी। अथॉरिटी का कहना है कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश के आधार पर यह स्कीम तैयार की गई है। जिसके तहत रेप, गैंगरेप और ऐसिड अटैक से पीड़ित ग्रामीण महिलाओं और पीड़ित परिवारों को मदद देने की बात कही गई है, जो संसाधनों से हीन हैं और कानूनी लड़ाई के लिए जिन्हें मदद की दरकार रहती है
वो दिन गए जब सिर्फ महिलाओं की वर्जिनिटी के बारे में ही सवाल पूछे जाते थे। 21वीं सदी की महिलाएं बेडरूम में भी अपने रूल्स चलाने लगी हैं। लड़कियों और महिलाओं के कौमार्य से जुड़ी बातें सदियों से सवालों के घेरे में रही है और अब वक्त आ गया है पुरुषों से भी उनकी वर्जिनिटी के सवाल पूछे जाएं। ऐसे में हम आपको बता रहे हैं उन 5 संकेतों के बारे में जिसके जरिए आप बड़ी आसानी से जान पाएंगी आपका मेल पार्टनर वर्जिन है या नहीं.
हां, आपने सही सुना। सिर्फ महिलाएं ही नहीं पहली बार सेक्स के दौरान कई बार पुरुषों को भी खून निकलता है। वैसे तो ऐसे पुरुष बेहद कम होते हैं लेकिन कई बार जिन पुरुषों की फोरस्किन टाइट होती है वे पहली बार इंटरकोर्स के दौरान ब्लीड करते हैं। इस दौरान बहुत ज्यादा खून नहीं निकलता लेकिन कुछ बूंदें दिख सकती हैं।
अगर आप किसी ऐसे पुरुष के साथ हैं जिसे पता ही नहीं कि बेड में क्या करना है, कैसे शुरू करें, आपको नेकेड देखकर अगर उसे घबराहट हो रही हो तो इस बात की पूरी संभावना है कि आपका पार्टनर वर्जिन है क्योंकि अनुभवी पुरुष इस तरह से व्यवहार नहीं करते।
अगर आप सेक्स के दौरान पूरी तरह से आत्मसंतुष्टि चाहते हैं तो इसमें फोरप्ले सबसे अहम रोल निभाता है। अगर आपके पार्टनर को फोरप्ले के बारे में कुछ पता नहीं है तो हो सकता है कि वह पहली बार सेक्स कर रहा हो और इसलिए उसे इस बारे में कोई जानकारी नहीं है।
अगर आपका पार्टनर बेड में किसी तरह की कोई बातचीत नहीं कर रहा तो यह भी मेल वर्जिनिटी का एक बेहतरीन संकेत है। नए पार्टनर्स के साथ अक्सर लोगों को अजीब महसूस होता है लेकिन अगर आपका पार्टनर आपको नेकेड देखकर अजीब महसूस कर रहा है तो इसका मतलब है कि वह पहली बार सेक्स कर रहा है।
::/fulltext::
Mother’s Day 2018: कहा जाता है भगवान हर जगह नहीं पहुंच सकते इसलिए उन्होंने मां बनाई. मां सिर्फ बच्चों और परिवार का ख्याल ही नहीं रखतीं बल्कि पूरा दिन काम भी करती हैं. मां को सम्मान देने के लिए मदर्स डे मनाया जाता है. भारत में मातृ दिवस 13 May को मनाया जाएगा. कई देशों में अलग-अलग दिन इस दिन को मनाया जाता है. इंटरनेशनल मदर्ड डे वैसे तो 8 मार्च को मनाया जाता है. लेकिन भारत में इस स्पेशल डे को मई महीने के दूसरे रविवार को मनाया जाता है. आइए जानते हैं मदर्ड डे के 8 ऐसे दिलचस्प फैक्ट्स जो बहुत कम लोग जानते हैं.
Mother’s Day के इंस्ट्रेस्टिंग फैक्ट्स:
1. अमेरिकन एक्टिविस्ट एना जार्विस ने मदर्स डे की शुरुआत की थी. वो अपनी मां से प्रेरित थीं इसलिए वो मदर्ड डे को मनाती थीं. उन्होंने न कभी शादी की और न कोई बच्चा था. मां की मौत होने के बाद प्यार जताने के लिए उन्होंने इस दिन की शुरुआत की. जिसके बाद धीरे-धीरे कई देशों में मनाया जाने लगा.
2. पहला मदर्ड डे 1908 को अमेरिका के वेस्ट वर्जीनिया और फिलाडेल्फिया में मनाया गया था.
3. 9 मई 1914 को अमेरिकी प्रेसिडेंट वुड्रो विल्सन ने एक लॉ पास किया था जिसमें लिखा था कि मई महीने के हर दूसरे रविवार को मदर्ड डे मनाया जाएगा.
4. जिसके बाद मदर्स डे अमेरिका, भारत और कई देशों में मई महीने के दूसरे रविवार को मनाया जाने लगा. लेकिन यूके मदर्ड डे को 6 मार्च को मनाया जाता है.
5. यूके और यूरोप के कुछ पार्ट में ईसाई केलेंडर के लेंट महीने के छठे हफ्ते में मनाया जाता है. इस दिन को वो मदरिंग डे नाम से मनाते हैं.
6. अमेरिका में मदर्ड डे को काफी जोर-शोर से मनाया जाता है. National Retail Federation के मुताबिक इस साल इस दिन ग्रीटिंग कार्ड्स, फूल, डिनर, कपड़े और ज्वैलिरी पर लोग 23 बिलियन डॉलर (करीब 15 लाख करोड़ रुपये) खर्च करेंगे.
7. चीन में मदर्स डे के दिन मां को गिफ्ट में गुलनार का फूल दिया जाता है.
8. ईसाई इस दिन को वर्जिन मेरी का दिन मानते हैं. इस दिन वो उन्हें फूल और गिफ्ट्स देकर प्रेयर करते हैं.
स्कीम के मुताबिक गैंगरेप या जान चली जाने के मसले पर पीड़ित या उसके परिवार को न्यूनतम 5 लाख रुपये और अधिकतम 10 लाख रुपये की मदद राशि दी जाएगी। इसके अलावा रेप या अप्राकृतिक सेक्स के मामले में न्यूनतम 4 लाख रुपये की राशि दी जाएगी। शरीर के किसी अंग को नुकसान पहुंचने या फिर 80 फीसदी तक विकलांगता की स्थिति में 2 लाख रुपये दिए जाएंगे। इसके अलावा गंभीर रूप से चोट लगने पर भी 2 लाख रुपये का प्रावधान है। यह स्कीम सभी राज्यों के लिए लागू होगी।
भ्रूण को नुकसान पहुंचने या फिर गर्भपता होने की स्थिति में भी न्यूनतम 2 लाख रुपये की राहत राशि दिए जाने का प्रावधान तय किया गया है। स्कीम के मुताबिक यदि कोई महिला कई अपराधों के तहत पीड़ित है तो वह मुआवजे की पूरी राशि के लिए हकदार होगी। यदि गैंगरेप की पीड़िता की मौत हो जाती है तो उसके परिवार को 10 लाख रुपये की राशि मिलेगी। 5 लाख रुपये गैंगरेप के एवज में और 5 लाख रुपये मौत के मुआवजे के तौर पर।
फिलहाल अलग-अलग राज्य सरकारें रेप पीड़िताओं को अपने स्तर पर अलग-अलग राशि राहत के तौर पर मुहैया कराती हैं। जैसे ओडिशा सरकार 10,000 रुपये देती है और गोवा सरकार 10 लाख रुपये तक की राशि देती है। महाराष्ट्र ऐसा पहला राज्य है, जहां ऐसे मामलों को लेकर कोई नियम नहीं है। अलग-अलग राज्यों में पीड़ितों को मिलने वाली राशि अलग-अलग है, ऐसे में सुप्रीम कोर्ट की जस्टिस मदन बी. लोकुर और दीपक गुप्ता की बेंच ने गुरुवार को सैद्धांतिक रूप से ऐसी स्कीम लागू करने की बात कही थी। बेंच ने कहा था, 'अलग-अलग राज्यों में पीड़ितों को अलग-अलग राहत राशि नहीं दी जा सकती। रेप के मामले में पीड़िताओं के साथ किसी भी तरह का भेदभाव नहीं करना चाहिए। देश भर में कॉम्पेन्सेशन की राशि एक समान होनी चाहिए।'
जानें, कैसे तय होगी राहत की राशि
जलने और ऐसिड अटैक से पीड़ित महिला यदि पूरी तरह जल जाती है तो 7 लाख रुपये की राशि मिलेगी और यदि 50 फीसदी शरीर झुलसता है तो यह आंकड़ा 5 लाख रुपये का होगा। स्कीम के मुताबिक ऐसिड अटैक की पीड़िता को शुरुआती 15 दिनों में 1 लाख रुपये की राशि दी जाएगी और उसके बाद दो महीने के भीतर 2 लाख रुपये दिए जाएंगे।