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रायपुर. राजधानी के शासकीय जे. योगनंदम कालेज के विद्यार्थी धरना-प्रदर्शन पर उतर आये है. फिजिक्स विभाग के एचओडी एमएम तिवारी का स्थानांतरण अन्यत्र जगह हो जाने के कारण विद्यार्थियों ने कालेज के सामने जमकर नारेबाजी किये. स्थानांतरण का विरोध कर रहे इन विद्यार्थियों ने कालेज प्रबंधन से फिजिक्स विभाग के एचओडी को वापस लाने की मांग किये. इसी दौरान धरना-प्रदर्शन कर रहे इन विद्यार्थियों ने प्रदेश के उच्च शिक्षा मंत्री के खिलाफ भी नारेबाजी किये.
राजनीति करण का शिकार हुए विभागध्यक्ष
विरोध-प्रदर्शन कर इन विद्यार्थियों ने बताया कि विभागाध्यक्ष कालेज की राजनीति का शिकार हो गये. साथ ही विभागाध्यक्ष को कालेज प्रबंधन के आला अधिकारियों को अपनमानित करके निकलने का भी आरोप लगाए. पिछले साल एमएससी फिजिक्स का कोर्स चालू हुआ. उसके प्रभार से एमएम तिवारी को हटाकर उनसे जूनियर असिस्टेंट प्रोफेसर को प्रभार दे दिया गया. जो नियम के विरुद्ध है. इस पर जब उन्होंने आवाज उठाया तो उनका ट्रांसफर कर दिया गया. लगातार वो आवाज उठाते रहे इसलिए उनको निकाला गया. उनका ट्रांसफर कर अम्बागढ़ चौकी भेज दिया गया है.
विभागाध्यक्ष को वापस नहीं लाने तक दिये धरने की चेतावनी
कालेज में फिजिक्स विभाग के एचओडी के स्थानांतरण का विरोध कर रहे इन विद्यार्थिओं ने कहा कि जब तक कालेज में विभागाध्यक्ष को वापस नहीं लाया जाता. तब तक धरना-प्रदर्शन की चेतावनी दिये.
::/fulltext::रायपुर. प्लास्टिक की समस्या का दंश पूरी दुनिया झेल रही है. हर देश अपने स्तर पर प्लास्टिक से निजात पाने की मुहिम छेड़े हुए है. भारत के प्रधानमंत्री ने भी 2022 तक भारत को सिंगल यूज प्लास्टिक से मुक्त करने की बात कही. तो वहीं भारत में एक ऐसा राज्य भी है जिसने प्रधानमंत्री की इस घोषणा के पहले ही अपने राज्य को प्लास्टिक मुक्त बनाने का संकल्प लिया है. दरअसल यह मुहिम छेड़ी है मंदिर के पुजारियों ने. केरल के त्रिवेंद्रम में एक मंदिर है अर्णामूला पार्थ सारथी मंदिर. ये मंदिर भगवान कृष्ण का है जिसे 8वीं सदी में बनाया गया था. इस मंदिर में एक नोटिस चस्पा किया गया हैं यह नोटिस मंदिर के बाहर, मंदिर के अंदर हर जगह आप देख सकते हैं. इस नोटिस में लिखा है. परब्रम्ह और प्लास्टिक. यानि के अगर आपको भगवान के दर्शन करने हैं तो प्लास्टिक का कोई भी सामान अंदर लेकर ना जायें. आपके पास जो भी प्लास्टिक का सामान है वो आपको बाहर छोड़कर आना होना तभी आप प्रवेश ले सकते हैं. अर्णामूला पार्थ सारथी मंदिर अकेला ऐसा मंदिर नहीं है जिसने प्लास्टिक को पूरी तरह बैन कर दिया है. केरल में ऐसे 1058 मंदिर हैं जिन्होने पूरी तरह से प्लास्टिक का बहिष्कार कर दिया है.
इन मंदिरों में ना सिर्फ प्लास्टिक ले जाना बैन है बल्कि प्लास्टिक का कोई भी सामान यहां इस्तेमाल नहीं होता. बत्ती के पैकेट, गुलाब जल की बोतल, तेल के डिब्बे सब कुछ प्लास्टिक रहित है. यहां ऐसे समान इस्तेमाल होते हैं जो डिकंपोज़ हो जाए या जिनका रिसायकल यूज हो. प्लास्टिक को पूरी तरह मंदिर से बाहर रखना इतना आसान नहीं था. पुजारी ने बताया कि मंदिर में गुलाब जल सप्लाई करने वाली कंपनी के बोटल प्लास्टिक के थे लिहाजा कंपनी को प्लास्टिक की जगह दूसरा विकल्प चुनने के लिए मनाना बेहद मुश्किल था. अब लोगों की भी सकारात्मक प्रतिक्रिया मिलने लगी है. यह मुहिम पूरे केरल में चल पड़ी है.
यहां मंदिरों के साथ-साथ अब मस्जिद और चर्च ने भी अपनी नियमावली बना ली है कि कोई भी प्लास्टिक का समान उपयोग में नहीं लाया जाएगा. पालायम जुमा मस्जिद और सेंट जोसेफ कैथेड्रल चर्च में सभी तरह के प्लास्टिक सामानों को पूरी तरह बैन कर दिया गया है चाहे आप प्रेयर के लिए चर्च जाएं या नमाज अदा करने मस्जिद, आपको बिना प्लास्टिक के सामान के जाना होगा.
दरअसल पूरी तरह से प्लास्टिक बैन की शुरुआत एक पेरियर हाथी की मौत से हुई. पेरियर एक बीस साल का बूढ़ा हाथी था जिसने प्लास्टिक खा लिया था और इस वजह से उसकी मौत हो गई. पेरियर की मौत से मंदिर के पुजारी क्षुब्ध हुए क्योेंकि हाथी को भगवान गणेश का रूप माना जाता है. ऐसे में पुजारियोंं ने संकल्प लिया की प्लास्टिक को पूरी तरह से उपयोग के बाहर कर दिया जाए.
केरल की इस पहल ने देश के कई राज्यों को इस दिशा में सोचने के लिए मजबूर कर दिया है. क्योंकि रिसर्च के मुताबिक देश में लगभग 100 में से 70 गायों की मौत प्लास्टिक खाने से होती है. लेकिन हम कोई ठोस कदम उठाना छोड़ किसी को घेर कर का मारना ज्यादा सही समझते हैं. हमें लगता है कि इससे हमारा अहम शांत होता है, हमारे अंदर के जानवर को सुकुन मिलता है. लेकिन वहीं कोई अच्छी पहल करने की बात पर हम एक दूसरे का मुंह ताकने से ज्यादा कुछ नहीं कर सकते. अगर ये खबर पढ़ के आप सोचने को मजबूर होते हैं और केरल में लिए निर्णय के पक्ष में पहल करते तो यह क्रांतिकारी कदम होगा.
::/fulltext::कांकेर. छत्तीसगढ़ दौरे पर आये राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने कांग्रेस पर जमकर निशाना साधा है। अमित शाह ने सीडी मामले पर कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि भाजपा ने तो तय कर लिया है कि नरेंद्र मोदी और रमन सिंह के नेतृत्व में सरकार बनाने जा रही है, कांग्रेस ये बताये- कांग्रेस किसको नेता बनाने जा रही है। अमित शाह ने कहा कि
“राहुल बाबा हमने तो तय कर दिया है कि हम चौथा चुनाव भी डा रमन सिंह के नेतृत्व में लड़ने जा रहे हैं, आप हमे बताओ कि कांग्रेस किसको नेता बनाने जा रही है, ऐसे लोग जो बेशर्म होकर फर्जी सीडी बनायें ?…क्या कुछ लेकर कांग्रेस पार्टी जनता के बीच जायेगी, छत्तीसगढ़ की माताओं-बहनों के सामने, एक सीडी बनाने वाले नेता को लेकर जनादेश मांगने निकलोगे, छत्तीसगढ़ के मैदान में आ जाओ राहुल बाबा, ये माताएं बहने, सीडी का हिसाब करने के लिए तैयार बैठी है”
अमित शाह ने कहा कि भाजपा का एक उसूल है, हम चतुराई की राजनीति नहीं करते, हम चरित्र की राजनीति करते हैं। उन्होंने कहा कि इस चुनाव में दो आप्सन हैं, पहला वो जो गरीबी हटाओ-गरीबी हटाओं का नारा देकर जिन्होंने गरीबों को ही हटा दिया और दूसरा वो जो बिना नारा दिये गरीबों के घरों में चुल्हा दिया, पानी, बिजली, खाद्यान्न दिये। उन्होंने कांग्रेस पर कटाक्ष करते हुए कहा कि कांग्रेस पार्टी आज नीति विहीन और नेतृत्व विहिन है, जो सीडी बनाकर सरकार बनाना चाहती है।
उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार में छत्तीसगढ़ नक्सलवाद के चंगुल से बाहर निकलकर विकास के रास्ते पर आगे बढ़ चला है। अमित शाह ने कहा कि जव हेलीकाप्टर से आ रहे थे, तो वो देख रहे थे कि हर गांव के पास रोड पहुंचाने का काम छत्तीसगढ़ में समाप्त हो गया है। अटल जी द्वारा बनाए गए छत्तीसगढ़ को संवारने और विकसित करने का काम मुख्यमंत्री रमन सिंह ने किया है।
मुख्यमंत्री रमन सिंह के काम की तारीफ करते हुए अमित शाह ने कहा कि 15 साल शासन में रहने के बाद लोगों के बीच में जाने का साहस भाजपा के अलावा किसी मुख्यमंत्री में नहीं है।
::/fulltext::रायपुर. छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव से पहले राज्य सरकार ने एक बार फिर शिक्षा विभाग में बड़े पैमाने पर फेरबदल किया है. गुरुवार को महानदी भवन से जारी इस आदेश में कुल 122 विकासखंड शिक्षा अधिकारियों के नाम है, जो लंबे समय से एक ही जगह पर जमे थे.
ये तबादल आदेश में नक्सल प्रभावित क्षेत्रों से लेकर रायगढ़ तक लगभग हर जिले शिक्षा अधिकारियों के नाम है. यह तबादला आदेश ई.आर कपाले (अवर सचिव) स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा जारी किए गए है.
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